रविवार, 3 फ़रवरी 2019

क्या अब अर्थी से मीत ,कफ़न उतारे जायेंगे ?


जी आयिया नूं -
क्या अब अर्थी से मीत ,कफ़न उतारे जायेंगे ?
पारलोक गमन के बाद भी गाँधी मारे जायेगे
अभिव्यक्ति की आजादी का सम्मान आजादी करती है,
लगता है कि पुण्यों का प्रतिदान आजादी भरती है-
क्या शांति एकता गौरव के प्रतिमान उजाड़े जायेंगे -
अच्छाई को छोड़ बुराई जब हथियार उठाती है 
जीवन के संसर्गों में प्रतिकार बुराई पाती है -
क्या राष्ट्र-पंथ से पंथ-मूल्य उच्च उचारे जायेंगे -
पूछ रही है भारत माँता घृणा गर्भ रखने वालों 
बसुधैव कुटुम्बकम के सूत्र मानस से बिसारे जायेंगे -
उदय वीर सिंह


5 टिप्‍पणियां:

सुशील कुमार जोशी ने कहा…

सटीक

Onkar ने कहा…

बढ़िया

Pammi singh'tripti' ने कहा…

आपकी लिखी रचना आज "पांच लिंकों का आनन्द में" बुधवार 6 फरवरी 2019 को साझा की गई है......... http://halchalwith5links.blogspot.in/ पर आप भी आइएगा....धन्यवाद!


Kailash Sharma ने कहा…

बहुत सुन्दर और सटीक अभिव्यक्ति...

रवीन्द्र भारद्वाज ने कहा…

बेहतरीन सृजन
बहुत खूब ......आदरणीय