हमने देखा वही जो दिखाया गया
पीछे परदे के क्या क्या छिपाया गया -
मंदिर भी था ,और मस्जिद भी थी ,
घायल इंसान सडकों पर पाया गया -
हिन्दसागर भी था व् हिमालय
भी
था
जोत खसरे में महलों के पाया गया -
वेदना,प्रीत
के
वर्क खाली मिले
पैरहन किसका महंगा बताया गया -
भूख थी प्यास थी बिलबिलाते रहे
कहीं उत्सव में अरबों लुटाया गया -
उदय वीर सिंह
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